India's Three Future Bowling Stars : भारतीय तेज़ गेंदबाज़ी के भविष्य के तीन सितारे |



भारतीय टीम के मौजूदा सुपरस्टार्स : मौजूदा समय में भारत के तेज़ गेंदबाज़ी की कमान संभाले जसप्रीत बुमराह, मोहम्मद शमी, मोहम्मद सिराज और अर्शदीप सिंह इन्ही के बदौलत भारत 2023 के ODI वर्ल्ड कप के फाइनल तक पंहुचा जो की दुर्भाग्यवश फाइनल में हार का सामना करना पड़ा। इसके 7 महीने बाद 29 जून 2024 को टी 20 वर्ल्ड कप जीत कर चैंपियन बन गए। जो काम नवंबर 2023 में अधूरा रह गया था उसे जून 2024 को पूरा कर लिया। इसे पूरा करने में सबसे बड़ी भूमिका रही तेज़ गेंदबाज़ो की। जसप्रीत बुमराह और मोहम्मद सिराज तो 30 की देहलीज़ पार कर चुके है। लेकिन हम उम्मीद करते है की वो ज़्यादा से ज़्यादा भारत के लिए मैचेस खेले। मोहम्मद शमी अपने 34 वे वर्ष में है और फिटनेस की भी समस्या से जूझ रहे है। ऐसे में उन्हें काफी संभलकर इस्तेमाल करना होगा और सेलेक्टर्स और कोच गौतम गंभीर इसकी पूरी कोशिश करेंगे की वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप तक शमी अपनी पूरी लए में रहे। अर्शदीप सिंह अभी सिर्फ 25 के है उनके पास अभी काफी लम्बा करियर है। हमारे भारतीय टीम के वर्त्तमान को इन् चारो ने बखूबी संभाला है। 


लेकिन हम भारत के 4 ऐसे युवा तेज़ गेंदबाज़ो की बात करेंगे जो भविष्य में टीम को नयी कामयाबियों तक पहुंचाने की काबिलियत रखते है। इनमे सबसे पहले नाम आता है दिविज मेहरा का। 


1 : दिविज मेहरा दिल्ली के रहने वाले है। इनकी उम्र अभी मात्र 21 साल है और ये दाएं हाथ के तेज़ गेंदबाज़ है। इनकी काबिलियत ये है की ये अच्छी गति से गेंद को स्विंग कराते है। ये अभी अपने करियर के बिल्कुल शुरुवाती दिनों में है और इन्होने अभी सिर्फ 5 फर्स्ट क्लास मैच खेले है। अपने 5 मैचों के 7 पारियो में दिविज में कुल 314 रनो पर 19 विकेट्स लिए है। 2023 जनुअरी को इन्होने मुंबई के खिलाफ दूसरी इनिंग में 30 रन देकर 5 विकेट्स लिए जो की इनका अब तक के छोटे से करियर में बेस्ट परफॉरमेंस है। उस समय ये सिर्फ 20 साल के थे। तो दिविज मेहरा एक ऐसे खिलाडी है जो आनेवाले समय में भारतीय टीम के लिए एक बढ़िया विकल्प बन सकते है। 


2 : दूसरे नंबर पर आते है दीपेंद्र सिंह। ये अभी सिर्फ 19 वर्ष के है। ये दाएं हाथ के तेज़ गेंदबाज़ है। दीपेंद्र अंडर 19 में इंडिया ऐ के लिए मात्र 2 मैच खेले है। हम जानते है की सिर्फ 2 मैच काफी कम होता है किसी के भी काबिलियत को परखने के लिए। लेकिन उसी दो मैच में दीपेंद्र ने अपनी प्रतिभा से मैच पर गहरी छाप छोड़ी।पहले मैच में 60 रन खर्च कर 1 विकेट लिए तो दूसरे मैच में 30 रन पर 2 विकेट्स लिए। लेकिन वो कहते है न की कई बार आकड़े हुनर की पहचान नहीं बता पाते, ठीक वैसे ही दीपेंद्र सिंह का हुनर आने वाले समय में और खिलकर निखरेगा। इनपर थोड़ा ध्यान दिया जाए तो ये भी आनेवाले समय में भारत के लिए खेलते हुए नज़र आ सकते है। 


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3 : तीसरे नंबर पर आते है यशोवर्धन परनताप जो की मात्र 20 वर्ष के है। इनकी खासियत ये है की ये एक बोलिंग आल राउंडर है। दाएं हाथ के तेज़ गेंदबाज़ी के साथ ये अच्छी बल्लेबाज़ी भी कर लेते है। डोमेस्टिक में इन्होने अभी कुछ मैच नहीं खेले है लेकिन क्लब के लिए खेला है। ये गुलबर्ग मिस्टिक और मैंगलोर यूनाइटेड के लिए खेल चुके है। वैसे तो इन्होने सिर्फ 4 ही मैच खेला है जिसमे इन्होने 2 विकेट्स लिए है। लेकिन इनकी काबिलियत ये है की ये दोनों तरफ स्विंग कराने में माहिर है। हो सकता है ये इस साल डोमेस्टिक में खलेने के लिए सेलेक्ट हो जाए।  काफी लम्बा घरेलु सीजन शुरू होनेवाला है जो ऐसी प्रतिभाओं को मौका देगा अपनी हुनर का जलवा दिखाने का और साथ ही सीनियर खिलाडियों से काफी कुछ सीखने का।  


इन् खिलाडियों को अगर अच्छे से मेन्टेन किया जाए तो इनमे अपने खेल को और बेहतर बनाकर भारत के लिए खेलने की काबिलियत नज़र आती है। हम उम्मीद करते है की इनको हर वो फैसिलिटी और माहौल दिया जाए जिसमे ये अपने खेल को और डेवेलोप कर सके। 

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